आदरणीय शंकर दान जी बासनी आपकी एक चिरजा
मेहाई आई हीण्डण आई सा,
पाळ चढ हीण्ड मण्डाई सा ।।
सुनकर इसी तर्ज पर श्री इन्द्र बाईसा की चिरजा लिखने का मन हुआ, और माँ की कृपा से लिखकर ग्रूप मे निजर कर रहा हूँ सा ।
कृपया सभी गायक कलाकार व शंकर सा आप भी कृपया स्वर देकर कृतार्थ करे 🙏🚩🚩
🚩✍ॐ करणी मंगलम ✍🚩
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खूङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ।।टेर।।
इण धरती पर आवङा माँ,
भूमी उतारण भार ।
सागर घर माँ आविया जी,
लेकर पुनि अवतार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
काळा गौरा साथ मे जी,
नवलख सगत्यां लार ।
अरिदल मारण कारणे माँ,
होय सिंघङे असवार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
कर मे ले त्रिशूल अम्बा,
दुधारी तलवार ।
सेवक रो हित साधने माँ,
अरि दल करे संघार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
तरणी तारो चारणी माँ,
हरणी विघ्न हजार ।
मढ खुङद री मावङी,
माँ करज्यो भव से पार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा••••
विनती सांवल दान री माँ,
कर जोङूं सरकार ।
छोरूङा री साय करज्यो,
अंब देवो दीदार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
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साँवल दान देपावत
देशनोक 🙏🚩🚩
Post by Samra Gadhvi
मेहाई आई हीण्डण आई सा,
पाळ चढ हीण्ड मण्डाई सा ।।
सुनकर इसी तर्ज पर श्री इन्द्र बाईसा की चिरजा लिखने का मन हुआ, और माँ की कृपा से लिखकर ग्रूप मे निजर कर रहा हूँ सा ।
कृपया सभी गायक कलाकार व शंकर सा आप भी कृपया स्वर देकर कृतार्थ करे 🙏🚩🚩
🚩✍ॐ करणी मंगलम ✍🚩
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खूङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ।।टेर।।
इण धरती पर आवङा माँ,
भूमी उतारण भार ।
सागर घर माँ आविया जी,
लेकर पुनि अवतार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
काळा गौरा साथ मे जी,
नवलख सगत्यां लार ।
अरिदल मारण कारणे माँ,
होय सिंघङे असवार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
कर मे ले त्रिशूल अम्बा,
दुधारी तलवार ।
सेवक रो हित साधने माँ,
अरि दल करे संघार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
तरणी तारो चारणी माँ,
हरणी विघ्न हजार ।
मढ खुङद री मावङी,
माँ करज्यो भव से पार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा••••
विनती सांवल दान री माँ,
कर जोङूं सरकार ।
छोरूङा री साय करज्यो,
अंब देवो दीदार ।।
खुङद मढ इन्द्र आया सा,
आज म्हारा भाग जगाया सा ••••
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साँवल दान देपावत
देशनोक 🙏🚩🚩
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